तरबूज (संज्ञा)
बड़ा, मोटा और गोल फल जिसका गूदा लाल व बीज काले होते हैं।
दानवीर (संज्ञा)
वह जो दान करने में कभी पीछे न हटता हो।
रूपरेखा (संज्ञा)
किसी बनाए जाने वाले रूप या किए जाने वाले काम का वह स्थूल अनुमान जो उसके आकार-प्रकार आदि का परिचायक होता है।
काली तुलसी (संज्ञा)
एक प्रकार की तुलसी।
केला (संज्ञा)
एक फल जो लम्बा, गूदेदार तथा मीठा होता है।
मोती (संज्ञा)
समुद्री सीपी से निकलने वाला एक बहुमूल्य रत्न।
गौरव (संज्ञा)
किसी का महत्व बढ़ने की अवस्था या भाव।
दर्शन (संज्ञा)
श्रद्धा, भक्ति और विनम्रतापूर्वक देवता, देवमूर्ति अथवा बड़ों से किया जाने वाला साक्षात्कार।
कमल (संज्ञा)
पानी में होने वाले एक पौधे का पुष्प जो बहुत ही सुन्दर होता है।
नक्कारखाना (संज्ञा)
वह स्थान जहाँ नक्कारे या नगाड़े बजते हैं।